सलीम अख्तर सिद्दीकी मेरठ – मेरठ में 26 मार्च को थाना भावनपुर के जयभीम नगर में पुलिस ने एक अवैध बूचड़खाने पर छापा मारा तो उसका संचालक राहुल ठाकुर नाम का वह शख्स निकला, जिसने गोरक्षक की नकाब पहन रखी थी। वह आए दिन मेरठ से गुजरने वाले उन वाहनों को पुलिस के साथ मिलकर रोकता था, जिनमें पशु ले जाए जाते थे। हंगामा होता था, शहर की फिजा खराब होती थी।
राहुल ठाकुर नाम का वह आदमी गले में भगवा पट्टा लगाकर जोर जोर से बोलकर गोरक्षक होने का दावा करता था। जब उसके चेहरे से नकाब उठी तो उसके पीछे गोभक्षक का चेहरा नजर आया, जो बहुत ही चालाकी से पुलिस और समाज को बेवकूफ बनाता था। जब उसकी पोल खुली तो उसे उन्हीं संगठनों के आदमियों ने पीट डाला, जो उसको हीरो बनाकर पेश करते थे। जब यह बात सामने आई कि राहुल ठाकुर का ताल्लुक भाजपा से है, तो हमेशा की तरह भाजपा ने उससे किनारा करने की कोशिश की। लेकिन जब राहुल ठाकुर का फेसबुक प्रोफाइल चैक किया गया तो वह भाजपा के बड़े से लेकर छोटे नेता तक साथ खड़ा नजर आ रहा है। दरअसल, मेरठ समेत पूरे पश्चिमी यूपी में यह गंदा खेल खेला जा रहा है, जिसमें चंद लोग भगवा पट्टे गले में लटकाए पशु ले जाने वाले वाहनों पर टूट पड़ते हैं। फिर पुलिस से मिलकर खुद ही लेन देन की सेटिंग कराते हैं। गोरक्षा के नाम पर चलने वाले गिरोह और पुलिस आपस में पैसा बांट लेते हैं। जब सेटिंग नहीं हो पाती तो पशुओं को हांक कर अपने बूचड़खाने में कटवा डालने का काम करते हैं। सूत्र यहां तक कहते हैं कि राहुल ठाकुर चूंकि अधिकतर पैसा अपने पास ही रखता लेता था, इसलिए दूसरे साथी उससे खफा रहने लगे थे। सपा सरकार के दौरान पुलिस से उसकी ठीक ठाक सेटिंग चल रही थी। इसलिए उसके विरोधी कुछ नहीं कर पा रहे थे। योगी सरकार के आने के बाद जब अवैध बूचड़खानों पर हंटर चला तो राहुल ठाकुर से खफा लोगों को मौका मिल गया और उन्होंने उसके अवैध बूचड़खाने पर रेड करवा कर उसका खेल खत्म कर दिया। शुरू शुरू में मेरठ के मीडिया ने राहुल ठाकुर को लेकर नरम रवैया अपनाया। कहा तो यहां तक भी जाता है कि मीडिया के भी कुछ लोग उसकी मदद करते थे। अपनी पोल खुल जाने के बाद उसने अपने मीडिया के मित्रों से मदद करने को कहा तो सबने पल्ला झाड़ लिया। आज वही पत्रकार उसकी कारगुजारियां चटखारे लेकर लिख रहे हैं, जो उसे हीरो बनाकर पेश करते थे और उसके एक इशारे पर वहीं पहुंच जाते थे, जहां वह बुलाता था। पुलिस पर राहुल ठाकुर की गिरफ्तारी का दबाव बढ़ता जा रहा है। कहा जाता है कि उसकी लोकेशन लखनऊ में मिल रही है। बताया जाता है कि वह लखनऊ में किसी बड़े भाजपा नेता की शरण में है। लेकिन ऐसा लगता नहीं कि कोई भाजपा नेता उसकी मदद कर पाएगा। मेरठ भाजपा ईकाई ने राहुल ठाकुर से पल्ला झाड़ लिया है। लेकिन मीडिया में भाजपा नेताओं के साथ आर्इं उसकी तस्वीरें चुगली कर रही हैं कि राहुल ठाकुर पर बड़े भाजपा नेताओं का हाथ रहा है। जिसमें उत्तर प्रदेश भाजपा अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव मौर्य भी शामिल हैं। गोरक्षा की आड़ में ब्लैकमेलिंग का धंधा करने वालों का एक पूरा गिरोह सक्रिय है, जिस पर शिकंजा कसना जरूरी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी एक बार कह चुके हैं कि गोरक्षा की आड़ में कुछ लोग धंधा कर रहे हैं। उनका कहना सही था। राहुल ठाकुर जैसों के चेहरों पर पड़ी गोरक्षक वाली नकाब खींची जाने की जरूरत है।
देखें राहुल ठाकुर की तस्वीरें भाजपा नेताओं के साथ