कब पकड़े जाएंगे मो. इस्माईल के हत्यारे, अररिया के चकई ग्राम में हुई थी मोब लिंचिंग

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जेएनयू के पूर्व छात्र नेता तबरेज़ हसन ने अररिया के जोकीहाट में हुई मोब लिंचिंग पर बात करते हुए  कहा कि 27 जून 2021 को अररिया जिला के जोकीहाट विधानसभा के चकई गाँव के बलवा टोला निवासी मो० इस्माईल नामक व्यक्ति की कुछ असामाजिक तत्वों द्वारा बेरहमी से पीट पीट कर की गई मॉबलिंचिंग के मामले में पुलिस कहीं ना कहीं इस केस को कमज़ोर करने में लगी हुई है, जो कि इस समाज में बढ़ते हुए मॉबलिंचिंग जैसी कुप्रथा के लिए भविष्य में ख़तरनाक साबित हो सकता है, जबकि इस से पुर्व भी उस गांव में दो और मुस्लिमों का हत्या/ मोबलिंचिंग हो चुकी है लेकिन धन बल बाहुबल के आधार पर जेल के सलाखों के पीछे डाला नहीं गया।

जेएनयू के पूर्व छात्र नेता तबरेज़ हसन

 

उन्होंने आगे कहा कि दोनों पक्षों द्वारा दायर शिकायत के आधार पर यह कहा जा सकता है कि जहां पुलिस प्रशासन ने असामाजिक तत्वों द्वारा चोरी की शिकायत में केस नंबर 308/21 दिनांक 27/6/2021 डाला है जब कि पीड़ित परिवार द्वारा डाले गए शिकायत पर केस नंबर 309/21 दिनांक 27/06/2021 डाला है, थाने में दायर केस नंबर के प्राथमिकता के आधार पर ये साफ़ झलकता है कि पुलिस प्रशासन अपना कार्य कुशलता से एवं निष्पक्ष तरीक़े से नहीं कर रही है।

ज्ञात होकि इस केस में 15 लोगों को नाम ज़द अभियुक्त बनाया गया है जिसमें से अब तक सिर्फ़ 2 लोगों की ही गिरफ़्तारी हुई है बाकी लोगों को अबतक पुलिस पकड़ नहीं पाई है, इस पूरे मामले में पीड़ित पक्ष का कहना है कि पुलिस आरोपी को बचा रही जिसकी वजह से ही बाकी लोगों की गिरफ़्तारी नहीं हो रही है। इसलिए इस बार जे एन यू के अंदाज में जे एन यू छात्र नेता तबरेज हसन के नेत्रत्व में धरना-प्रदर्शन किया गया और जिलाधिकारी को सात बिन्दुओं के मेमोरेन्डम सोंपा गया जो निम्न लिखित है

  • फास्ट ट्रैक कोर्ट का गठन करके अपराधियों को गिरफ्तार किया जाना चाहिए और इस घृणा अपराध के लिए दंडित किया जाना चाहिए।
  • इस मॉब लिंचिंग मामले की सीबीआई द्वारा जांच की जानी चाहिए।
  • इस्माइल की पत्नी को कम से कम ₹10 लाख का मुआवजा मिलना चाहिए।
  • मृतक के परिवार को तत्काल इंदिरा आवास योजना के तहत मकान मिलना चाहिए।
  • सरकार को मृतक के बच्चों को मुफ्त शिक्षा प्रदान करें।
  • जोकीहाट थाना प्रभारी विकास कुमार आजाद को तत्काल निलंबित किया जाना चाहिए।
  • सरकार को इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए एक समिति और एक टास्क फोर्स का गठन करना चाहिए।

जेएनयू के पूर्व छात्र नेता तबरेज़ हसन ने बताया कि जिला प्रशासन ने विश्वास दिलाया है कि बहुत जल्द न्याय होगा इसलिए हम लोग बिहार सरकार से अपील करते हैं कि इस पूरे मामले की गंभीरता को देखते हुए पीड़ित के परिवार को (जो बहुत ही ग़रीब है एवं तीन छोटे-छोटे बच्चे है कमाने वाला कोई नहीं है) उचित मुआवजा देते हुए इस पूरे मामले की उच्चस्तरीय जांच कराई जाए एवं जल्द से जल्द अपराधियों पर करवाई सुनिश्चित कि जाए।

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