अगस्त के पहले रविवार पूरी दुनिया Friendship Day यानि मित्रता दिवस के तौर पर मनाता है। वैसे दो आज किसी भी देश में किसी के भी दोस्त हो सकते हैं। लेकिन जब बात पाकिस्तान की आती है, तो हमारे यहाँ उनके लोगों को अधिकतर एक प्रतिद्वंदी के तौर पर ही देखा जाता है। किक्रेट के मामले में तो स्तिथि और भी गंभीर हो जाती है। क्रिकेट के मैदान पर खड़ा हर एक पाकिस्तानी खिलाड़ी भारत में रहने वाले हर नागरिक को अपना दुश्मन लगता है। हमारे यहाँ इंडिया-पाकिस्तान का मैच किसी युद्ध से कम नहीं होता। पर क्या आप जानते हैं इंडिया और पाकिस्तान के कुछ ऐसे खिलाड़ी है, जो एक दुसरे के काफी करीब माने जाते हैं। आज फ्रेंडशिप डे के मौके पर हम आपको कुछ ऐसे ही भारतीय खिलाड़ियों के नाम बताने जा रहे हैं जिनके बीच काफी याराना माना जाता है-
सौरव गांगुली और इंज़माम-उल-हक
सौरव गांगुली अपने समय के बेहतरीन खिलाड़ी और कप्तान रहे हैं। इसी तरह पाकिस्तान के इंज़माम-उल-हक भी एक पाकिस्तानी लेजेंड खिलाड़ी और पाकिस्तानी टीम के कप्तान रहे चुके हैं। सौरव गांगुली का कप्तानी करियर लगभग इंज़माम-उल-हक के खिलाफ खेलते हुए ही बीता है। मैदान पर एक दूसरे के खिलाफ जमकर खेलने के बावजूद दोनों में काफी याराना माना जाता है। आजतक के एक शो में इंज़माम और सौरव गांगूली दोनों ने मौजूद थे, जिसमें उन्होंने अपनी दोस्ती के कई किस्से शेयर किये थे। इसी दौरान इंज़माम कलकत्ता का एक किस्सा बताया, इंज़माम ने बताया कि 2005 की सीरिज से पहले सौरव और मेरा एलजी का एक ऐड बना था। तब मैं कलकत्ता के होटल में ठहरा हुआ था, लेकिन मेरा खाना सौरव के घर से आता था। वो मेहमान नवाजी में आज तक नहीं भूला।
इसके अलावा सौरव गांगुली ने भी एक मज़ेदार किस्सा बताया, उन्होंने कहा कि मैं जब भी इंज़ी भाई को टीवी पर देखता था। तो बॉल बैट से टच होते ही, सीधा फोर लग जाता था। मैंने सोचा प्लेयर तो अच्छा है ही साथ में बैट भी अच्छा होगा। इसीलिए मैंने इनसे सियालकोट से बैट मंगवाए थे।
वीरेंद्र सहवाग और शोएब अख़्तर
वीरेंद्र सहवाग काफी आक्रमक बल्लेबाज रहे हैं। जिन क्रिकेटर्स ने उनके साथ खेला है, उन सभी का कहना है कि बैटिंग में सहवाग को रोकना बहुत मुश्किल था। इसी तरह शोएब अख़्तर भी अपने समय के सबसे आक्रमक बॉलरों में गिने जाते हैँ।
वीरेंद्र सहवाग और शोएब अख्तर काफी करीबी दोस्त माने जाते हैं। एक बार तो सहवाग ने मजाक में मैदान पर यह भी कह दिया था कि तुम बॉलिंग कर रहे हो या भीख मांग रहे हो।
दरअसल, पाकिस्तान के मुल्तान में इंडिया-पाकिस्तान का एक मैच हुआ था। इस मैच में सहवाग ने 309 रनों की धुंआधार पारी खेली। इस मैच में जब बॉलिंग के लिए शोएब सामने आए, तो वह सहवाग से काफी परेशान हो गए। ने शोएब को काफी परेशान कर दिया था। जिसके बाद शोएब सहवाग के लिए लगातार बाउंसर गेंद फेंकने लगे। सहवाग तब तक 200 से ज्यादा रन बना चुके थे, और हर बाउंसर को डक किये जा रहे थे। अख़्तर लगातार बाउंसर फेंकते रहे और सहवाग उन्हें डक करते रहे। तब शोएब ने सहवाग को उकसाने के लिए कहा कि ‘तुम 200 से ज्यादा रन बना चुके हो, मैं इतनी बाउंसर गेंद फेंक रहा हूं कस से कम एक पुल शॉट तो मारकर दिखाओ।’ जिस पर सहवाग ने जवाब देते हुए कहा, यार तुम बॉलिंग कर रहे हो या भीख मांग रहे हो।
इसके अलावा Cricket Country.com की वेबसाइट के हवाले से सहवाग ने एक और मज़ेदार किस्सा शेयर किया था। उन्होंने कहा कि “शोएब अख्तर एक बार पूरी भारतीय टीम के लिए मटन लेकर आए थे। तब हमारी टीम में वीवीएस लक्ष्मण और अनिल कुंबले को छोड़कर सभी नॉन वेजिटेरियन थे। लेकिन हम आधा मटन भी खत्म नहीं कर पाए जब शोएब को ये पता चला तो उसने कहा कि इतना मटन तो अकेले मिसबाह उल हक खा लेता है।”
शाहिद अफरीदी और सहवाग
शोएब और सहवाग ही नहीं, शाहिद अफरीदी और सहवाग भी काफी अच्छे दोस्त माने जाते हैं। इंडिया टीवी के हवाले से सहवाग ने एक मजेदार किस्सा शेयर किया। सहवाग बताया, एक मैच में मैं सातवें नंबर पर बैटिंग करने गया था। तब पिच पर पहुंचते ही शाहिद अफरीदी और इमरान नजीर ने मेरा स्वागत गालियों से किया। इतनी ज्यादा गालियां दी कि मानों जैसे मेरे दोस्त मेरा स्वागत कर रहे हों। अफरीदी मेरा दोस्त है और हमारे बीच आपस में केवल गालियों में ही बात होती है।
विराट कोहली और शाहिद अफरीदी
एक ही समय पर अपनी-अपनी टीम के कप्तान रहे, शाहिद अफरीदी और विराट कोहली भी एक दूसरे दोस्त कहे जाते हैं। एक बार तो खुद शाहिद अफरीदी ने अपने और विराट की दोस्ती को लेकर एक बयान दिया था। पीटीआई के मुताबिक, शाहिद अफरीदी ने कहा था कि विराट के साथ मेरे ताल्लुकात राजनीतिक हालातों पर निर्भर नहीं है। विराट शानदार इंसान हैं। मेरी ही तरह वो भी अपने देश के क्रिकेट दूत हैं।
नवजोत सिंह सिद्धू और इमरान खान
पूर्व क्रिकेटर और पाकिस्तान के प्रधानंत्री इमरान खान और नवजोत सिंह सिद्धू (वर्तमान पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष और पूर्व क्रिकेटर) की दोस्ती किसी से छिपी नहीं है। लेकिन यह दोस्ती अब कहीं न कहीं लोगों को खटकने भी लगी है।
दरअसल, इमरान खान जब चुनाव जीतकर प्रधानमंत्री बने, तो उन्होंने अपने शपथ ग्रहण के मौके पर कई साथी क्रिकेटरों को आंमत्रित किया था। लेकिन केवल सिद्धू ही अपने दोस्त इमरान खान के शपथग्रहण में शामिल हुए। जिसके बाद उन्हें अपनी ही पार्टी से विरोध का सामना करना पड़ा, यहाँ तक कि उन्हें पंजाब केैबिनेट से इस्तीफा भी देना पड़ गया था।