गुजरात चुनाव का प्रचार जोरों पर है. राहुल गांधी और प्रधानमंत्री मोदी एक-दुसरे पर खूब तंज कसते नजर आ रहे है. राहुल गांधी ने प्रचार कि कमान सोशल मीडिया पर भी सम्भाल राखी है. वो आजकल रोजाना प्रधानमंत्री मोदी से सवाल पूछते नजर आते है. इसी कड़ी में राहुल ने ट्विटर पर प्रधानमंत्री मोदी से 4 सवाल पूछे है.
क्या है 4 सवाल?
1.2012 में वादा किया कि 50 लाख नए घर देंगे। 5 साल में बनाए 4.72 लाख घर। प्रधानमंत्रीजी बताइए कि क्या ये वादा पूरा होने में 45 साल और लगेंगे?
22 सालों का हिसाब,
गुजरात मांगे जवाब।गुजरात के हालात पर प्रधानमंत्रीजी से पहला सवाल:
2012 में वादा किया कि 50 लाख नए घर देंगे।
5 साल में बनाए 4.72 लाख घर।प्रधानमंत्रीजी बताइए कि क्या ये वादा पूरा होने में 45 साल और लगेंगे?
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) November 29, 2017
2.1995 में गुजरात पर क़र्ज़-9,183 करोड़। 2017 में गुजरात पर क़र्ज़-2,41,000 करोड़। यानी हर गुजराती पर ₹37,000 क़र्ज़। आपके वित्तीय कुप्रबन्धन व पब्लिसिटी की सज़ा गुजरात की जनता क्यों चुकाए?
22 सालों का हिसाब,#गुजरात_मांगे_जवाब
गुजरात के हालात पर प्रधानमंत्रीजी से दूसरा सवाल:
1995 में गुजरात पर क़र्ज़-9,183 करोड़।
2017 में गुजरात पर क़र्ज़-2,41,000 करोड़।
यानी हर गुजराती पर ₹37,000 क़र्ज़।आपके वित्तीय कुप्रबन्धन व पब्लिसिटी की सज़ा गुजरात की जनता क्यों चुकाए?
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) November 30, 2017
3.2002-16 के बीच ₹62,549 Cr की बिजली ख़रीद कर 4 निजी कंपनियों की जेब क्यों भरी? सरकारी बिजली कारख़ानों की क्षमता 62% घटाई पर निजी कम्पनी से ₹3/ यूनिट की बिजली ₹24 तक क्यों ख़रीदी? जनता की कमाई, क्यों लुटाई?
22 सालों का हिसाब,#गुजरात_मांगे_जवाब
प्रधानमंत्रीजी से तीसरा सवाल:
2002-16 के बीच ₹62,549 Cr की बिजली ख़रीद कर 4 निजी कंपनियों की जेब क्यों भरी?
सरकारी बिजली कारख़ानों की क्षमता 62% घटाई पर निजी कम्पनी से ₹3/ यूनिट की बिजली ₹24 तक क्यों ख़रीदी?
जनता की कमाई, क्यों लुटाई?
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) December 1, 2017
4.सरकारी स्कूल-कॉलेज की कीमत पर किया शिक्षा का व्यापार महँगी फ़ीस से पड़ी हर छात्र पर मार New India का सपना कैसे होगा साकार? सरकारी शिक्षा पर खर्च में गुजरात देश में 26वें स्थान पर क्यों? युवाओं ने क्या गलती की है?
22 सालों का हिसाब#गुजरात_मांगे_जवाब
प्रधानमंत्रीजी- चौथा सवाल
सरकारी स्कूल-कॉलेज की कीमत पर
किया शिक्षा का व्यापार
महँगी फ़ीस से पड़ी हर छात्र पर मार
New India का सपना कैसे होगा साकार?सरकारी शिक्षा पर खर्च में गुजरात देश में 26वें स्थान पर क्यों? युवाओं ने क्या गलती की है?
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) December 2, 2017