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नज़रिया – राम के नाम पर इतनी ओछी राजनीति नहीं कीजिए

  • June 3, 2019

अगर राम आपके आदर्श हैं तो उनके नाम का इस्तेमाल आप किसी को चिढ़ाने, उकसाने के लिए कैसे कर लेते हैं? अगर आप उनमें श्रद्धा रखते...

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अगर आज राम खुद बनारस में नरेंद मोदी जी के खिलाफ चुनाव में खड़े होते तो ?

  • May 2, 2019

प्रेम प्रकाश जी वरिष्ठ पत्रकार हैं और मेरे मित्र हैं। कम लिखते हैं पर लाजवाब लिखते हैं। उनकी एक रोचक लेख नीचे प्रस्तुत कर रहा हूँ।...

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स्मृति- जब रामायण केंद्रित अंताक्षरी में एक मुस्लिम युवक ने पढ़ा श्लोक

  • October 1, 2017

मैं मुस्कराया और उनसे कहा यही तो हमारी सांझी संस्कृति है जो कोई भी न तो हमें अलग कर सकता और न ही छीन सकता है। गंगा यमुना के संगम की तरह हम एक दूसरे में मिल महसूसते बहते जाते। इसी से शायद गंगा यमुनी तहज़ीब की बात होती है