उत्तरप्रदेश में हुए उपचुनावों के साईडइफेक्ट्स सामने आने लगे हैं, ताज़ा घटनाक्रम में योगी सरकार में कैबिनेट मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य के दामाद डा. नवल किशोर ने समाजवादी पार्टी में शामिल हो गए हैं.
यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर नवल किशोर के सपा में शामिल होने की बात कही. इस दौरान उपचुनाव में मिली जीत पर अखिलेश यादव ने कहा कि योगी सरकार के एक साल पूरा होने पर जनता ने उन्हें सॉलिड रिटर्न गिफ्ट दिया है.
प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान अखिलेश ने कहा कि अंबेडकर और लोहिया का साथ होना जरूरी है. आप समझ नहीं रहे हैं. नरेश अग्रवाल के पाला बदल कर बीजेपी में शामिल होने पर अखिलेश यादव ने टिप्पणी करते हुए कहा, “बिना मिठाई के कोई रुकता नहीं है.”
बता दें कि 17 फरवरी को मौर्य के भतीजे सपा का दामन थाम चुके हैं. पार्टी में शामिल होने पर उनके भतीजे प्रमोद मौर्य ने कहा था – भाजपा में शोषण होता रहा तो चाचा भी यहीं आ जाएंगे.
बीते तीन महीने के सियासी हालात को देखें तो भाजपा और बसपा के कई नेता सपा में शामिल हुए हैं. भाजपा के पूर्व विधायक शम्भू चौधरी और नंद किशोर मिश्र, बसपा के पूर्व विधायक ताहिर हुसैन सिद्दीकी और बसपा से जिलाध्यक्ष रहे तहसीन सिद्दीकी ने जनवरी में समाजवादी पार्टी का दामन थामा था.
डॉ. नवल किशोर शाक्य ने इस मौके पर अखिलेश यादव को भगवान बुद्ध की प्रतिमा भेंटकर उपचुनाव में जीत के लिए बधाई दी. डॉ. शाक्य के सपा में शामिल होने को लेकर अखिलेश यादव ने कहा कि यह हमारी पार्टी में आ रहे हैं लेकिन इन्हें हम यहां नहीं, सभा में ज्वॉइन कराएंगे। उन्होंने कहा कि ऐसे बहुत से नेता हैं जो अपनी पार्टी छोड़कर सपा का दामन थामने वाले है.
नवल किशोर 2016 में उस समय चर्चा में आए जब स्वामी प्रसाद मौर्य ने बसपा से इस्तीफा दिया था. दरअसल, बसपा सुप्रीमो मायावती ने स्वामी प्रसाद मौर्य पर आरोप लगाया था कि वो अपने दामाद नवल किशोर को विधानसभा का टिकट दिलाना चाहते थे और इसके लिए मना करने पर उन्होंने इस्तीफा दे दिया था.