2000 रुपये के नोटों को वापस लेने की खबरों पर वित्त मंत्री अरुण जेटली ने आज फुल स्टॉप लगा दिया. वित्त मंत्री ने कहा, ”इस तरह की अफवाहें फैलाई जा रही हैं, जब तक कोई आधिकारिक घोषणा नहीं होती इन पर भरोसा ना करें.” एसबीआई की एक रिपोर्ट के हवाले से खबर थी कि आरबीआई 2000 रुपये के नोट या तो वापस ले सकता है या उसकी छपाई बंद कर सकता है.
रिपोर्ट में कहा गया कि इसका मतलब यह हुआ कि 8 दिसंबर तक उच्च मूल्य वर्ग के नोटों का कुल मूल्य 13,324 अरब के बराबर था और उस दिन के बाद ही छोटे मूल्य वर्ग के नोटों में बाजार में प्रचलन के लिए लाया गया था.
एसबीआई की ग्रुप चीफ इकोनॉमिक एडवाइजर सौम्य कांती घोष ने बताया, “इसका मतलब है कि 2,463 अरब रुपये के उच्च मूल्य वर्ग के नोट्स (15,787 अरब रुपये – 13,324 अरब रुपये) की छपाई की गई है लेकिन उन्हें बाजार में जारी नहीं किया गया.”
रिपोर्ट में आगे कहा गया है कि वित्त मंत्रालय ने हाल ही में लोकसभा में जानकारी दी थी कि आरबीआई ने 8 दिसंबर तक 500 रुपए के 16,957 मिलियन और 2000 रुपए के 3,653 मिलियन नोटों की छपाई की थी. इन सभी नोटों की कुल वैल्यू 15,787 बिलियन थी.